बिहार दिवस : ‘बिहारियों में दम है, बोझ बनते नहीं बोझ उठाते हैं’

पटना : पटना के गांधी मैदान में बुधवार को बिहार दिवस समारोह का आगाज हो गया है। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने मुख्य मंच से बिहार दिवस समारोह का दीप प्रजवलित कर और गुब्बारा उड़ाकर उद्घाटन किया। इस अवसर पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि ‘ये देवों का बिहार’ सीडी का लोकार्पण किया गया। वहीं इस दौरान जेंडर बजटिंग और पोक्सों किताब का भी उद्घटान किया गया। वहीं आज मुख्यमंत्री ने बिहार दिवस के मंच से फ्री wifi सेवा की भी शुरुआत की गयी।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने समस्त बिहारवासियों को शुभकामना दी और कहा कि 2009 से हमलोग बिहार दिवस का आयोजन कर रहे हैं। बिहार के युवाओं में जो प्रतिभा वह सबसे ज़्यादा , किसी भी बड़ी परीक्षा और बड़े संस्थानों में बिहार की प्रतिभाओं ने अपनी असीम छाप छोड़ी है। बिहार के लोग मेहनती हैं। देश के हर हिस्से में आपको बिहार के लोग छोटे से बड़े सभी कार्य संभाल रहे हैं। दिल्ली में फिलहाल बिहारियों की संख्या है कि इतनी है कि वे एक दिन काम बंद कर दें तो वहां की सारी व्यवस्था ठप हो जायेगी। नीतीश कुमार ने कहा कि बिहारियों में दम है वे बोझ बनते नहीं हैं बोझ उठाते हैं। बिहार के लोग प्रशासनिक सेवा, एयरलाइन, सीआईएसएफ, चिकित्सा, शिक्षा, सेना समेत अन्य क्षेत्रों में बिहार के लोग अपनी खास पहचान बनायी है। बिहार के लोगों मन से देश की सेवा करते हैं। ऐसे में बिहार के लोगों के लिए एक खास दिन को सेलिब्रेट करने का सोचा गया तो हमने बिहार दिवस मनाने का तय किया। इसके बाद हमने निर्णय लिया कि बिहार सरकार के शिक्षा विभाग को 22 दिवस को बिहार दिवस मनाने की जिम्मेदारी दी गयी।
इस बार बिहार दिवस का थीम नशा मुक्ति है। हमने बिहार में पिछले साल अप्रैल महीने से शराब बंद करा दिया। बिहार में नशा मुक्ति के सन्देश के लिए 21 जनवरी को विश्व की सबसे बड़ी मानव श्रृंखला बनायी गयी। इस श्रृंखला में 3 करोड़ से भी ज़्यादा लोगों ने भाग लिया। हमारी सरकार ने शराबबंदी से आगे बढ़कर नशा मुक्ति अभियान चलाया।
नीतीश कुमार ने कहा कि इस साल बिहार दिवस मनाते हुए काफी खुशी हो रही है। इस वर्ष तो बिहार के कार्यक्रमों की देश ही नहीं विदेश में भी चर्चा हुई। साल के शुरुआत में जनवरी महीने गुरु गोविंद सिंह महाराज के 350वें प्रकाश उत्सव का आयोजन हुआ, जिसमे सिख श्रद्धालुओं का भव्य स्वागत किया। इस आयोजन और बिहार के लोगों के अतिथि सत्कार की खूब सराहना की। वहीं बोधगया में आयोजित कालचक्र पूजा में दुनिया भर के बौद्ध धर्म के लोग आये और यहाँ के आयोजन की सराहना की।